नवाब मलिक का नया खुलासा:समीर वानखेड़े की मुस्लिम टोपी में मौलाना से बात करते हुए तस्वीर जारी की; लिखा- ‘कबूल है, कबूल है’
महाराष्ट्र के अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री नवाब मलिक द्वारा नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो के जोनल डायरेक्ट समीर वानखेड़े के खिलाफ लगाए आरोपों का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है। ताजा मामले में आधी रात मलिक ने वानखेड़े के खिलाफ एक बड़ा ‘बम’ फोड़ते हुए एक ऐसी तरवीर साझा की है जिसे झुठलाना समीर वानखेड़े और उनके परिवार के लिए मुश्किल नजर आ रहा है।
तस्वीर में वानखेड़े जालीदार टोपी पहने हुए एक मौलाना के साथ चर्चा करते हुए दिखाई दे रहे हैं। इस फोटो में वह एक कागज पर दस्तखत करते हुए दिखाई दे रहे हैं, नवाब मलिक ने इस फोटो के साथ लिखा सिर पर टोपी, कबूल है, कबूल है, कबूल है… ये तूने क्या क्या किया समीर दाउद वानखेड़े?
नवाब मलिक द्वारा दिए गए फोटो के कैप्शन से साफ है कि वह इस फोटो को समीर वानखेड़े के निकाह की तस्वीर बता रहे हैं। इसीलिए, उन्होंने इसमें “कबूल है, कबूल है, कबूल है” लिखा है।
Photograph of Sameer Dawood Wankhede signing his 'Nikah Nama' pic.twitter.com/lSQz56RqoW
— Nawab Malik نواب ملک नवाब मलिक (@nawabmalikncp) November 22, 2021
वानखेड़े का निकाह पढ़ाने वाले मौलाना का क्या कहना था?
मुस्लिम कानून के मुताबिक, निकाह के लिए जरूरी है कि होने वाले पति-पत्नी दोनों ही मुस्लिम हों। वानखेड़े ने निकाह किया इसका मतलब ये हुआ कि उन्होंने खुद को मुस्लिम बताया। वानखेड़े का निकाह मौलाना मुजम्मिल अहमद ने पढ़ाया है। उन्होंने भी मीडिया से यही कहा कि समीर वानखेड़े मुस्लिम हैं और निकाह के वक्त भी उन्होंने खुद को मुस्लिम ही बताया था। उस वक्त उनका पूरा परिवार मुस्लिम ही था। अगर लड़का-लड़की मुस्लिम नहीं होते तो शरीयत के मुताबिक निकाह नहीं हो सकता।
मलिक ने वानखेड़े पर लगाया था धर्म छिपाने का आरोप
नवाब मलिक ने समीर वानखेड़े पर अपना वास्तविक धर्म- ‘इस्लाम’ छिपाने और फर्जी जाति प्रमाण पत्र यानी अनुसूचित जाति के कोटे पर केंद्र सरकार की नौकरी हासिल करने का आरोप लगाया था। हालांकि, उनके इन आरोपों के बाद वानखेड़े और उनके पिता भी सामने आए थे और कहा था कि वे महार समुदाय से तालुक रखते हैं और पूरे परिवार ने कभी धर्म परिवर्तन नहीं किया है। अपनी बातों को पुख्ता तौर पर रखने के लिए दोनों पक्षों ने कई सर्टिफिकेट भी मीडिया के सामने रखे थे। वानखेड़े के परिवार ने BMC द्वारा जारी आधिकारिक बर्थ सर्टिफिकेट पेश किया, जिसमें समीर वानखेड़े के पिता का नाम कचरुजी वानखेड़े लिखा है। उनका धर्म इसमें हिन्दू लिखा गया है।
इसे गलत करार देते हुए नवाब मलिक फिर से गुरुवार को मीडिया के सामने आए और कहा कि उन्होंने बुधवार को बॉम्बे हाई कोर्ट में वानखेड़े के स्कूल प्रवेश फॉर्म और प्राथमिक स्कूल सर्टिफिकेट की प्रति जमा करवाई है, जिसमें लिखा गया है कि वे मुस्लिम समुदाय से ताल्लुक रखते हैं। इसमें उनका नाम ज्ञानदेव दाऊद वानखेड़े है।
वानखेड़े के परिवार ने दायर किया है मानहानि का केस
समीर के पिता ज्ञानदेव वानखेड़े ने मंत्री नवाब मलिक के खिलाफ मानहानि का केस दायर किया था, जिसमें मलिक के आरोपों के लिए 1.25 करोड़ रुपए के हर्जाने की मांग की गई थी। इसी के साथ अंतरिम राहत के रूप में नवाब मलिक द्वारा की जा रही बयानबाजी पर रोक लगाने की मांग की गई है। आज बॉम्बे हाईकोर्ट में इसी मामले की सुनवाई जारी है।
आर्यन की गिरफ्तारी के बाद से हमलावर हैं नवाब मलिक
3 अक्टूबर को NCB ने मंबई में एक क्रूज पार्टी में रेड कर आर्यन खान सहित कई अन्यों को गिरफ्तार किया था। फिलहाल, आर्यन खान जमानत पर जेल से बाहर हैं। इस मामले के बाद से नवाब मलिक लगातार समीर वानखेड़े पर हमलावर हैं। मलिक ने वानखेड़े पर बॉलीवुड के लोगों को फंसाकर फिरौती लेने का आरोप भी लगाया था। आर्यन खान केस में भी नवाब मलिक ने कहा है कि यह अपहरण और फिरौती का मामला था। यह पूर्व नियोजित था लेकिन सार्वजनिक डोमेन में जारी एक सेल्फी ने योजना को विफल कर दिया। फर्जीवाड़ा अब बेनकाब हो गया है।