कलेक्टर ने की जल-जीवन मिशन की समीक्षा
कलेक्टर हर्षिका सिंह ने जिले में चल रहे जल-जीवन मिशन के कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि संबंधित अधिकारी क्षेत्र में लगातार भ्रमण करें तथा कार्य में गति लाते हुए उन्हें जल्द पूर्ण कराने का प्रयास करें। जिन क्षेत्रों में पानी की समस्या है, वहां पर सर्वोच्च प्राथमिकता से कार्य पूर्ण करें। जिला योजना भवन में संपन्न हुई बैठक में सीईओ जिला पंचायत रानी बाटड, ईई पीएचई मनोज भास्कर, ईई एमपीईबी शरद बिसेन सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
कलेक्टर ने कहा कि जिन ग्रामों में कार्य पूर्ण हो चुके हैं, वहां पर नियमानुसार हस्तांतरण की कार्यवाही करें। सतत मॉनिटरिंग कर सुनिश्चित करें कि योजना का संचालन प्रभावित न हो। जिन स्थानों पर जल स्त्रोतों की दिक्कत है वहां पर विकल्प तलाशें। उन्होंने ईई पीएचई को अपूर्ण कार्यों का स्थलवार विश्लेषण कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। कलेक्टर हर्षिका सिंह ने कहा कि लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग जल-जीवन मिशन के अंतर्गत 2020-21 तक स्वीकृत हुए कार्यों को प्राथमिकता के साथ पूरा करें। रेट्रोफिटिंग के कामों का भी नियमित रूप से परीक्षण करते रहे तथा रेट्रोफिटिंग के संबंध में मिलने वाली शिकायतों को गंभीरता से निराकृत करें। उन्होंने आवश्यक कार्यों के रिवाइज्ड एस्टिमेट तैयार कर भेजने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने निर्देशित किया कि ज़िले में ऐसे हैंडपंप जो पूर्णतः ख़राब स्थिति में हैं, ऐसे हैंडपंप जो ख़राब हुए हैं किंतु उन्हें पुनः प्रारम्भ किया जा सकता है तथा ऐसे हैंडपंप जो वर्तमान में प्रारंभ स्थिति में हैं, इन सभी का कलर कोड सुनिश्चित किया जाए। बैठक में कलेक्टर ने बंद हेंडपंपों में सुधार करने तथा पेयजल की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों में पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।